भागलपुर, बिहार (15 सितंबर, 2024) – केंद्रीय मंत्री और भाजपा नेता रवनीत सिंह बिट्टू ने कांग्रेस नेता राहुल गांधी के खिलाफ अपनी टिप्पणी से विवाद खड़ा कर दिया है। भागलपुर में एक कार्यक्रम में बोलते हुए बिट्टू ने राहुल गांधी को भारत में “नंबर एक आतंकवादी” करार दिया और सुझाव दिया कि उन्हें पकड़ने के लिए इनाम रखा जाना चाहिए।
बिट्टू की यह टिप्पणी राहुल गांधी द्वारा अमेरिका की अपनी यात्रा के दौरान दिए गए बयानों के जवाब में आई है, जहां उन्होंने सिख समुदाय के सामने आने वाले मुद्दों पर बात की थी। केंद्रीय मंत्री ने गांधी पर सिख समुदाय को विभाजित करने और अलगाववादी विचारधाराओं के समान भड़काऊ बयानबाजी करने का आरोप लगाया।
बिट्टू का विवादित बयान
भागलपुर कार्यक्रम में बिट्टू ने गांधी की टिप्पणी पर असंतोष व्यक्त करते हुए कहा, “राहुल गांधी ने सिखों को विभाजित करने का प्रयास किया है। वह हमारे देश की सीमाओं की रक्षा करने वालों के बीच चिंगारी जलाने की कोशिश कर रहे हैं। राहुल गांधी नंबर एक आतंकवादी हैं और उन्हें पकड़ने के लिए सबसे बड़ा इनाम घोषित किया जाना चाहिए।”
बिट्टू ने आरोप लगाया कि राहुल गांधी ने अलगाववादियों के बयानों से अपने बयानों को जोड़ लिया है। उन्होंने कहा, “जो लोग बम बनाते हैं और हिंसा की वकालत करते हैं, वही लोग अब राहुल गांधी का समर्थन कर रहे हैं। उनके शब्दों की अलगाववादियों ने प्रशंसा की है। इससे साफ पता चलता है कि राहुल गांधी राष्ट्रीय हितों के खिलाफ काम कर रहे हैं।”
गांधी की अमेरिका संबंधी टिप्पणी पर नाराजगी
यह विवाद राहुल गांधी द्वारा वर्जीनिया की अपनी यात्रा के दौरान की गई टिप्पणियों से उपजा है, जहाँ उन्होंने भारतीय-अमेरिकी समुदाय के सदस्यों को संबोधित किया था। गांधी ने आरएसएस पर कुछ धर्मों, भाषाओं और समुदायों को हीन मानने का आरोप लगाया था और दावा किया था कि यह भारत के राजनीतिक संघर्ष का केंद्रीय मुद्दा है। उन्होंने इस बात पर चिंता जताई कि क्या भारत में सिखों को पगड़ी पहनने या गुरुद्वारों में जाने का अधिकार है।
जवाब में बिट्टू ने राजनीतिक लाभ के लिए सिख समुदाय का कथित तौर पर शोषण करने की कोशिश करने के लिए गांधी की तीखी आलोचना की। “उन्होंने उन जगहों पर विभाजन पैदा करने की कोशिश की है, जहां कोई विभाजन नहीं है। सिख समुदाय को कभी नहीं बताया गया कि वे पगड़ी नहीं पहन सकते या गुरुद्वारे में नहीं जा सकते। यह केवल राष्ट्र की रक्षा करने वाले लोगों के बीच मतभेद पैदा करने का प्रयास है।”
गांधीजी पर व्यक्तिगत हमला
बिट्टू की आलोचना गांधी के राजनीतिक बयानों तक ही सीमित नहीं रही। उन्होंने गांधी के भारत से जुड़ाव पर भी निशाना साधते हुए कहा, “मेरा मानना है कि राहुल गांधी दिल से सच्चे भारतीय नहीं हैं। उन्होंने ज़्यादा समय विदेश में, भारत से बाहर दोस्तों और परिवार के साथ बिताया है। ऐसा लगता है कि उनके मन में इस देश के लिए उतना प्यार नहीं है।”
बिट्टू ने गांधी के राजनीतिक करियर का मज़ाक उड़ाते हुए कहा, “वह अभी भी आम लोगों के संघर्षों को नहीं समझते हैं। राजनीति में इतने साल बिताने के बावजूद, उनका ध्यान वास्तविक मुद्दों पर ध्यान देने की बजाय फोटो खिंचवाने के अवसरों पर अधिक है।”
बिट्टू की टिप्पणी पर प्रतिक्रिया
बिट्टू की टिप्पणी ने हलचल मचा दी है और राजनीतिक हलकों से कड़ी प्रतिक्रियाएँ आ रही हैं। जहाँ कई लोगों ने उनके बयानों की भड़काऊ प्रकृति के लिए निंदा की है, वहीं भाजपा नेता इस मामले पर मोटे तौर पर चुप रहे हैं।
यह टिप्पणी ऐसे समय में आई है जब भारत में अल्पसंख्यकों के साथ व्यवहार सहित संवेदनशील मुद्दों पर राहुल गांधी के बयानों को समर्थन और आलोचना दोनों मिल रही है।
आरएसएस पर गांधीजी का बयान
अपनी अमेरिकी यात्रा के दौरान गांधी ने राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (आरएसएस) पर धर्म और भाषा के आधार पर भेदभाव को बढ़ावा देने का आरोप लगाया था। उन्होंने इस बात पर जोर दिया कि भारत में राजनीतिक संघर्ष यह सुनिश्चित करने पर केंद्रित है कि सिखों सहित सभी समुदायों को समान अधिकार और स्वतंत्रता मिले।
इन टिप्पणियों को लेकर राजनीतिक तनाव बढ़ने के साथ ही यह देखना बाकी है कि बिट्टू की टिप्पणियों को लेकर विवाद किस तरह सामने आता है।