मुंबई: मुंबई के एक कलाकार ने महिलाओं के खिलाफ बढ़ते अपराधों के बीच दोनों लिंगों के बीच सामंजस्य की आवश्यकता को उजागर करने के लिए ‘अर्धनारी’ रूप में गणेश की मूर्ति बनाई है – आधा पुरुष, आधा महिला।
रिंटू राठौड़ ने चॉकलेट से हाथी के सिर वाले देवता की मूर्ति बनाई है, जिसमें उनकी विशेषज्ञता है।
राठौड़ ने बताया कि उन्होंने अपने सांताक्रूज स्थित घर में स्थापित ‘अर्धनारी’ रूप की 25 इंच ऊंची मूर्ति बनाने के लिए 20 किलोग्राम डार्क चॉकलेट और 10 किलोग्राम सफेद चॉकलेट का इस्तेमाल किया।
उन्होंने कहा, “गणपति का यह रूप हिंदू धर्म में विशेष रूप से महत्वपूर्ण है। यह इस विचार पर जोर देता है कि पुरुष और महिला सिद्धांत एक दूसरे के लिए आवश्यक और पूरक हैं, जो ब्रह्मांड में सद्भाव और संतुलन को बढ़ावा देते हैं।”
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राठौड़ ने बताया कि महाराष्ट्र के रायगढ़ जिले के गोरेगांव में 800 साल पुराने मंदिर में 12 भुजाओं वाले गणेश की ‘अर्धनारी’ मूर्ति स्थापित है।
उन्होंने कहा कि महिलाओं के खिलाफ बढ़ते अपराधों, विशेषकर हाल ही में कोलकाता के आर.जी. कर मेडिकल कॉलेज एवं अस्पताल में प्रशिक्षु डॉक्टर के साथ हुई घटना के मद्देनजर पुरुष और महिला लिंग के बीच संतुलन और सामंजस्य की आवश्यकता और अधिक बढ़ गई है।
राठौड़ ने कहा, “यह रूप दोनों लिंगों के बीच संतुलन को दर्शाता है। अगर संतुलन बिगड़ता है, जैसा कि कोलकाता में हुआ, तो महिलाओं को अपनी सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए माँ काली का रूप लेना पड़ता है।”
इस अनोखी पर्यावरण-अनुकूल मूर्ति को अनंत चतुर्दशी (17 सितंबर) को दूध में विसर्जित किया जाएगा, जो 10 दिवसीय गणेश उत्सव के समापन का प्रतीक है।
उन्होंने कहा कि चॉकलेट युक्त दूध वंचित बच्चों को वितरित किया जाएगा।
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