प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) के कार्यवाहक प्रमुख राहुल नवीन को बुधवार को संघीय धन शोधन निरोधक एजेंसी का पूर्णकालिक निदेशक नियुक्त किया गया।
मंत्रिमंडल की नियुक्ति समिति (एसीसी) द्वारा जारी आदेश में कहा गया है कि आयकर संवर्ग के 1993 बैच के भारतीय राजस्व सेवा (आईआरएस) अधिकारी नवीन की नियुक्ति “पदभार ग्रहण करने की तिथि से दो वर्ष की अवधि के लिए या अगले आदेश तक, जो भी पहले हो, के लिए” की गई है।
ईडी निदेशक केंद्र सरकार में अतिरिक्त सचिव (एएस) रैंक का पद है और नवीन को पिछले साल दिसंबर में एएस के रूप में सूचीबद्ध किया गया था।
नवीन (57) नवंबर 2019 में विशेष निदेशक (ओएसडी) के रूप में ईडी में शामिल हुए थे, ताकि वे मनी लॉन्ड्रिंग के खिलाफ कार्रवाई का नेतृत्व करने वाली वैश्विक संस्था, वित्तीय कार्रवाई कार्य बल (एफएटीएफ) द्वारा भारत के पारस्परिक मूल्यांकन के संबंध में एजेंसी के काम का नेतृत्व कर सकें।
आईआईटी कानपुर से बी.टेक और एम.टेक तथा मेलबर्न के स्वाइनबर्न यूनिवर्सिटी ऑफ टेक्नोलॉजी से एमबीए की डिग्री प्राप्त नवीन को पिछले वर्ष 15 सितंबर को अपने पूर्ववर्ती संजय कुमार मिश्रा का कार्यकाल समाप्त होने के बाद ईडी का कार्यवाहक निदेशक नियुक्त किया गया था।
मिश्रा के करीबी माने जाने वाले नवीन के ईडी प्रमुख के रूप में कार्यकाल के दौरान दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल और झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन की अलग-अलग धन शोधन मामलों में हाई प्रोफाइल गिरफ्तारियां हुईं।
अंतरराष्ट्रीय कराधान मामलों के विशेषज्ञ नवीन बिहार से हैं और उन्होंने 30 साल तक आयकर विभाग में काम किया है। 2004-08 के दौरान अंतरराष्ट्रीय कराधान विंग में अपने कार्यकाल के दौरान, आयकर विभाग ने वोडाफोन मामले सहित कई विदेशी लेनदेन पर मांग उठाई थी।
संदेशखली में ईडी टीम पर हमला होने के बाद नवीन पश्चिम बंगाल पहुंचे थे और उन्होंने अपने जांचकर्ताओं से “बिना किसी डर के काम करने” और एक ठोस मामला तैयार करने को कहा था।
ईडी के एक वरिष्ठ अधिकारी ने पीटीआई-भाषा को बताया कि नवीन ने यह सुनिश्चित किया कि एजेंसी की टीमों को सशस्त्र कर्मियों की “पूर्ण” सुरक्षा मिले और इसके कार्यालयों को अर्धसैनिक बलों की भी सुरक्षा मिले।
उन्होंने कहा, “उन्होंने एजेंसी को धन शोधन निरोधक कानून और अन्य के तहत जांच किए जा रहे सभी मामलों में समय पर आरोप पत्र दाखिल करने को सुनिश्चित करने का निर्देश दिया है। ईडी को पिछले एक महीने में 24 आरोपियों के खिलाफ तीन दोषसिद्धि आदेश मिले हैं।”
आईआरएस अधिकारी ने आईटी विभाग में विभिन्न अंतर्राष्ट्रीय कराधान और हस्तांतरण मूल्य निर्धारण पत्रिकाओं और लेखों का लेखन किया है, जो प्रशिक्षु आईआरएस अधिकारियों को उनके विद्यालय, नागपुर, महाराष्ट्र में राष्ट्रीय प्रत्यक्ष कर अकादमी (एनएडीटी) में पढ़ाए जाते हैं।
उन्होंने “सूचना विनिमय और कर पारदर्शिता: वैश्विक कर चोरी और बचाव से निपटना” नामक एक मार्गदर्शक पुस्तक भी लिखी है, जो 2017 में प्रकाशित हुई थी।
यह पुस्तक ओईसीडी, पारदर्शिता और सूचना के आदान-प्रदान पर वैश्विक मंच तथा जी-20 जैसे अनेक आंतरिक द्विपक्षीय और बहुपक्षीय आर्थिक तथा कर-चोरी विरोधी मंचों में भाग लेने के उनके अनुभव पर आधारित है।
ईडी दो आपराधिक कानूनों – धन शोधन निवारण अधिनियम (पीएमएलए) और भगोड़े आर्थिक अपराधी अधिनियम (एफईओए) के अलावा विदेशी मुद्रा प्रबंधन अधिनियम (फेमा) के नागरिक प्रावधानों के तहत वित्तीय अपराधों की जांच करता है।
(यह रिपोर्ट ऑटो-जेनरेटेड सिंडिकेट वायर फीड के हिस्से के रूप में प्रकाशित की गई है। हेडलाइन के अलावा, एबीपी लाइव द्वारा कॉपी में कोई संपादन नहीं किया गया है।)